11 जुआरियों को किया गिरफ्तार

खरगोन। मेनगांव पुलिस थाना को गत बुधवार को मुखबीर से सूचना मिली कि ग्राम कांेडापुरा में नीम के पेड़ के नीचे कुछ लोग रूपए-पैसों की हार-जीत की बाजी लगाकर ताश पत्ते खेल रहे है। मुखबीर की सूचना पर खरगोन एसडीओपी रोहित सिंह अलावा के मार्गदर्शन एवं मेनगांव थाना प्रभारी श्रीमती गीता सोलंकी के नेतृत्व में पुलिस टीम का गठन किया और उसके द्वारा बताएं हुए स्थान पर पहुंचकर ताश के पत्तों से हार-जीत का दाव लगाकर जुआं खेलने वाले 11 जुआरियों को घेराबंदी कर मौके से गिरफ्तार किया। जुआरियों से 52 ताश के पत्ते व नगदी 2 हजार 180 रूपए जब्त किए। गिरफ्तार किए गए जुआरियों का कृत्य धारा 13 जुआं एक्ट का पाया जाने से उनके विरूद्ध थाना मेनगांव पर अपराध क्रमांक 489/20 धारा 13 जुआं एक्ट का पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया।

इन 11 जुआरियों को किया गिरफ्तार

पुलिस अधीक्षक कार्यालय से प्राप्त जानकारी के अनुसार जिन जुआरियों को जुआं खेलते हुए गिरफ्तार किया गया है, उनमें 10 कोंडापुरा व 1 मोतीपुरा खरगोन का निवासी है। इनमें कोंडापुरा के मलिक पिता कय्युम खान, हैदर पिता जब्बार खान, मुंशी पिता एहमद खान, इमरान पिता बखशु खान, परवेज पिता कालु खां, युनुस पिता हमीन खान, हसन पिता हसीर खान, सिराज पिता कायम खान, मोहसिन पिता लतीफ खान, आरिफ पिता दिदार खान एवं साकिर पिता काले खां निवासी मोतीपुरा खरगोन शामिल है। कार्यवाही में उनि गोपाल निगंवाल, सउनि डोगरसिंह सुलिया, प्रआर कमल राठौड़, आर तंवरसिंह, भुरेसिंह व वहाब का योगदान रहा।

मानव अधिकार दिवस पर आयोजित किए शिविर

खरगोन। गुरूवार को मानव अधिकार दिवस के अवसर पर मंडलेश्वर एवं खरगोन में शिविर आयोजित किए गए। मंडलेश्वर में आयोजित शिविर को संबोधित करते हुए अपर जिला न्यायाधीश श्री भारतसिंह रावत ने कहा कि मानव अधिकार दिवस का मुख्य उद्देश्य मानव अधिकारों के प्रति लोगों को जागरूक करना तथा मानव अधिकारों के हनन को रोकना है। मानव अधिकारों में मुख्य रूप से आर्थिक, सामजिक व सांस्कृतिक अधिकार शामिल है। जिला विधिक सहायता अधिकारी राबिन दयाल ने कहा कि सन् 1948 में सर्वभौमिक घोषणा द्वारा मानव अधिकार की स्थापना की गई थी, जिसके उपलक्ष्य में 10 दिसंबर को मानव अधिकार दिवस मनाया जाता है। कार्यक्रम में पैरालीगल वालेंटियर एवं मानव अधिकार आयोग के सदस्य उपस्थित रहे।

पृथ्वी का उदय हुआ तब सबसे पहले जल आया

खरगोन के न्यायालय परिसर में आयोजित शिविर को संबोधित करते हुए एडीजे श्री सुभाष सोलंकी ने पर्यावरण की देखभाल के लिए पंच “ज“ जल, जंगल, जमीन, जन व जानवर पर ध्यान केंद्रित करते हुए कहा कि जब पृथ्वी का उदय हुआ तब सबसे पहले जल आया। उसके बाद जंगल फिर जानवर और अंत में ईश्वर ने नर व नारी को बनाया। इसलिए हमारा कर्तव्य है कि हम इनकी रक्षा करें। इस अवसर पर एडीजे श्री सैफी दाउदी, सीजेएम श्री आशीष दवंडे, न्यायिक मजिस्ट्रेट श्रीमती आरती ढ़ींगरा एवं मानव अधिकार आयोग के सदस्य बसंत सोनी ने भी संबोधित किया। इस दौरान एडीजे श्रीमती गीता सोलंकी, श्री दारासिंह मंडलोई, श्रीमती प्रियंका चौहान, श्री राजूसिंह डावर, कृषि विभाग के एसडीओ गिरधारी भावर सहित अन्य अधिकारी व कर्मचारी उपस्थित रहे।

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