कलेक्टर ने जिले के लिए दंडात्मक आदेश किए जारी

खरगोन 23 सितंबर 2020। आगामी माह में दुर्गा पूजा व अन्य धार्मिक कार्यक्रम संपूर्ण जिले में मनाए जाएंगे तथा विभिन्न सार्वजनिक स्थानों पर दूर्गा प्रतिमा की स्थापना की जाएगी। इसको लेकर कलेक्टर एवं जिला दंडाधिकारी श्रीमती अनुग्रहा पी ने दंड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा 144 के अंतर्गत संपूर्ण जिले के लिए दंडात्मक आदेश जारी किए है। जारी आदेशानुसार विभिन्न सार्वजनिक स्थानों पर स्थापित की जाने वाले दुर्गा प्रतिमा की अधिकतम ऊंचाई 6 फिट और पांडाल का साईज 10 बाय 10 फिट का रहेगा। सभी मूर्तिकार प्रतिमा की ऊंचाई 6 फिट या उससे कम की बनाएंगे। सांस्कृतिक, सामाजिक एवं अन्य कार्यक्रमों के आयोजन में 100 से कम व्यक्तियों के आयोजन, चेहरे पर मास्क, फिजिकल दूरी, थर्मल स्केनिंग एवं हाथ धोने के लिए सेनिटाईजर की व्यवस्था करना होगा। आयोजकों को संबंधित अनुविभागीय अधिकारी से पूर्वानुमति प्राप्त करना आवश्यक होगा। कोविड-19 को देखते हुए किसी भी धार्मिक/सामाजिक आयोजन के लिए चल समारोह निकालने की अनुमति नहीं होगी। साथ ही गरबा के आयोजन नहीं हो सकेंगे। लाउड स्पीकर बजाने के संबंध में सर्वोच्च न्यायालय द्वारा जारी गाईडलाईन का पालन करना अनिवार्य होगा।


विसर्जन के लिए लेना होगा पूर्वानुमति


कलेक्टर श्रीमती अनुग्रहा पी ने आदेश में कहा कि विसर्जन के लिए 10 से अधिक व्यक्तियों के समुह को अनुमति प्रदान नहीं की जाएगी। इसके लिए आयोजकों को पृथक से संबंधित अनुविभागीय अधिकारी से लिखित पूर्वानुमति प्राप्त करना आवश्यक होगा। मूर्ति विसर्जन के लिए समस्त सीएमओ अपने-अपने क्षेत्र में अधिक से अधिक उपयुक्त स्थानों का चयन करेंगे, ताकि कम से कम भीड़ हो। सार्वजनिक स्थानों पर कोविड संक्रमण से बचाव के लिए पांडालों, विसर्जन के आयोजनों में श्रृद्धालू मास्क, फिजिकल दूरी, सेनिटाईजर के उपयोग के साथ ही शासन एवं जिला प्रशासन द्वारा समय-समय पर जारी किए गए निर्देशों का कड़ाई से पालन करेंगे। समस्त दुकानें रात्रि 8 बजे तक खुलने की अनुमति होगी, सिर्फ केमिस्ट, रेस्तरा एवं खान-पान से संबंधित दुकानें रात्रि 8 बजे बाद भी अपने निर्धारित समयानुसार खुली रह सकती है। रात्रि 10.30 बजे से प्रातः 6 बजे तक अकारण आवागमन न हो, इसके लिए नियमित रूप से पेट्रोलिंग भी की जाएगी। दुकानों का निरंतर निरीक्षण कराया जाएगा। इस दौरान दुकान संचालकों से अपेक्षा है कि वे मास्क पहने तथा ग्राहकों के उपयोग तथा फिजिकल दूरी के लिए घेरे बना रखेंगे। ऐसा नहीं करने वाले दुकान संचालकों के विरूद्ध नियमानुसार जुर्माना एवं अन्य दंडात्मक कार्यवाही की जाएगी।


बिना मास्क पहने घुमने वाले पर होगा अर्थदंड आरोपित


जारी आदेशानुसार कोई भी व्यक्ति बिना मास्क पहने घुमता पाया जाता है, तो शहरी क्षेत्र में 100 रूपए एवं ग्रामीण क्षेत्र में 50 रूपए का अर्थदंड आरोपित किया जाएगा। यह आदेश सर्वसाधारण को संबोधित है। वर्तमान परिस्थितियों में समयाभाव के कारण व्यक्तियों को व्यक्तिशः इस आदेश की तामिली कराया जाना संभव नहीं है। कोई भी व्यक्ति यदि इस आदेश का उल्लंघन करते हुए पाया जाता है, तो भारतीय दंड विधान की धारा-188 एवं आपदा प्रबंध अधिनियम 2005 की धारा 51 से 60 के तथा अन्य सुसंगत अधिनियमों के तहत दंडात्मक कार्यवाही की जाएगी। यह आदेश 23 सितंबर से 31 अक्टूबर तक प्रभावशील रहेगा।


खरीफ फसलों के लिए पंजीयन हुए प्रारंभ


खरगोन। जिल में खरीफ की फसलों के लिए पंजीयन 15 सितंबर से प्रारंभ हो चुके है, जो 15 अक्टूबर तक चलेंगे। सहायक खाद्य आपूर्ति अधिकारी भारतसिंह जमरे ने बताया कि खरीफ फसलों में ज्वार, बाजरा व मक्का शामिल है। वनपट्टाधारी तथा सिकमी/ बटाई वाले किसानों के पंजीयन के लिए जिले में 11 पंजीयन केंद्र बनाए गए है। इन पंजीयन केंद्रों पर किसान अपनी फसलों का पंजीयन करा सकता है। इसके अलावा अन्य किसान एमपी किसान एप्प, उपार्जन पंजीयन एप्प तथा कियोस्क सेंटर के माध्यम से पंजीयन करवा सकता है। पंजीयन कराते समय किसान को समग्र आईडी, बैंक पासबुक, मोबाईल नंबर एवं फसल का विवरण प्रस्तुत करना होगा। खरीफ की ज्वार फसल का समर्थन मूल्य 2620 तथा बाजरा का समर्थन मूल्य 2150 है।


इन स्थानों पर बनाएं पंजीयन केंद्र


सहायक आपूर्ति अधिकारी श्री जमरे ने बताया कि जिले में 11 पंजीयन केंद्र बनाए गए है। इनमें कसरावद बुजुर्ग के देवश्री सहकारी संस्था, खरगोन में श्री गणेश सहकारी विपणन समिति, गोगावां में श्री शक्ति सहकारी विपणन समिति, झिरन्या में आदिम जाति सेवा सहकारी संस्था, बड़वाह में दि को-ऑपरेटिव्ह मार्के. सोसायटी, भगवानपुरा में सतपुड़ा सहकारी विपणन समिति, भीकनगांव में दि को-ऑपरेटिव्ह मार्के. सोसायटी, महेश्वर में आदिम जाति सेवा सहकारी संस्था, करही में आदिम जाति सेवा सहकारी संस्था, सेगांव में मातेश्वरी मार्के. सोसायटी लि. तथा सनावद में दि को-ऑपरेटिव्ह मार्के. सोसायटी में बनाया गया है। इन केंद्रों पर वनपट्टाधारी तथा सिकमी/बटाई वाले किसान पंजीयन करवा सकते है।


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